आज भारतीय क्रिकेट में जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी और मोहम्मद सिराज के बिना तेज़ गेंदबाज़ी आक्रमण की कल्पना भी नहीं की जा सकती। शमी साउथ अफ्रीका के खिलाफ हाल में टेस्ट सीरीज़ के लिए फिट नहीं थे, जिससे उनकी कमी को महसूस किया गया। खासकर पहले टेस्ट में जब सेंचुरियन में तीसरे तेज़ गेंदबाज़ी की कमी भारत को काफी महंगी साबित हुई। उस टेस्ट में न प्रसिद्ध कृष्णा की रफ्तार काम आई और न ही शार्दुल का ऑलराउंड खेल।
दरअसल शमी को उनके फिट होने की शर्त पर ही चुना गया था लेकिन सेंचुरियन टेस्ट से पहले वह टखने की इंजरी से उबर नहीं पाए। फिर दूसरे टेस्ट में सिराज और बुमराह ने अदभुद प्रदर्शन किया और शमी की कमी को महसूस नहीं होने दिया। इन दिनों शमी बैंगलुरु स्थित एनसीए में हैं जहां मेडिकल टीम और फिटनेस ट्रेनर की देखरेख में वह अभ्यास कर रहे हैं। खबर है कि वह इस समय ज़्यादा से एक्सरसाइज़ कर रहे हैं। दिन भर में ऐसे कई सेशन में उन्होंने यह सब करना होता है लेकिन उन्होंने अभी तक गेंदबाज़ी का अभ्यास शुरू नहीं किया है। ज़ाहिर है कि वह इंग्लैंड के खिलाफ भी कम से कम पहले दो टेस्टों के लिए उपलब्ध नहीं हो पाएंगे। पहला टेस्ट हैदराबाद में 25 जनवरी से शुरू हो रहा है जबकि दूसरा टेस्ट विशाखापत्तनम में दो फरवरी से खेला जाएगा।
बीसीसीआई ने भी स्पष्ट कर दिया है कि उन्हें शमी की फिटनेस को लेकर कोई हड़बड़ाहट नहीं है। इंग्लैंड के खिलाफ सीरीज़ होम ग्राउंड पर हो रही है, जहां स्पिन फ्रेंडली विकेट होंगे। ऐसी स्थिति में तीन स्पिनर और दो ही तेज़ गेंदबाज़ों को प्लेइंग इलेवन में जगह मिल पाएगी। जसप्रीत बुमराह और मोहम्मद सिराज इन मैचों के लिए उपलब्ध हैं। ऐसी स्थिति में शमी की फिटनेस को लेकर बोर्ड को किसी भी तरह की जल्दबाज़ी की ज़रूरत नहीं है।
वहीं सूर्यकुमार यादव का हर्निया का ऑपरेशन होने वाला है। इस ऑपरेशन के बाद उन्हें कम से कम आठ से नौ हफ्ते क्रिकेट मैदान से दूर रहना होगा। अटकलें इस बात को लेकर लगाई जा रही हैं कि वह आईपीएल तक मुम्बई इंडियंस के लिए उपलब्ध हो जाएंगे। वैसे अगर आईपीएल के उनके कुछ मैच प्रभावित भी होते हैं तो उससे कोई ज़्यादा फर्क नहीं पड़ेगा क्योंकि उनसे उम्मीद यही है कि वह जून में होने वाले टी-20 वर्ल्ड कप के लिए उपलब्ध हो जाएं क्योंकि वहां वह टीम इंडिया के लिए ट्रम्प कार्ड साबित हो सकते हैं।