नमन गर्ग
मोहम्मद सिराज ने जब से टेस्ट क्रिकेट खेलना शुरू की है, तभी से उन्होंने अपनी धाक बनाई हुई है। विदेश में तो मोहम्मद सिराज का प्रदर्शन शानदार रहा है क्योंकि उन्होंने ऑस्ट्रेलिया,इंग्लैंड और दक्षिण अफ्रीका तीनों जगह पांच विकेट एक इनिंग में ले रखी हैं लेकिन वैसा प्रदर्शन वह भारत में हुए टेस्ट मैचों में दोहरा नहीं पाए। इसके पीछे प्रमुख कारण उनका बॉलिंग एक्शन है।
भारत में जो भी तेज गेंदबाज सफल हुए हैं वह रिवर्स स्विंग के सहारे सफल हुए हैं, लेकिन मोहम्मद सिराज का एक्शन रिवर्स स्विंग के लिए अनुकूल नहीं है। अगर तेज गेंदबाज को रिवर्स स्विंग करनी है तो उनका एक्शन थोड़ा स्लिंगी होना चाहिए तभी वह रिवर्स स्विंग प्राप्त कर सकते हैं लेकिन मोहम्मद सिराज का एक्शन कन्वेंशनल है। इस वजह से वह गेंद को रिलीज करते हैं न कf गेंद को पटकते हैं जिस कारण वह रिवर्स स्विंग प्राप्त नहीं कर पाते इसलिए उनकी भारतीय पिचों पर विदेशी पिचों के मुकाबले विकेट कम हैं।
पिछले 10 साल में सबसे बेहतरीन भारतीय तेज गेंदबाज भारतीय सर जमीन पर उमेश यादव रहे हैं और वह विकेट इसलिए ले पाते थे क्योंकि उनका एक्शन स्लिंगी था और वह रिवर्स स्विंग के लिए एकदम अनुकूल था लेकिन जैसे ही उमेश यादव विदेश में जाते थे तो उनका प्रदर्शन फीका हो जाता था। इससे उल्टा मोहम्मद सिराज के साथ होता है। वह उन विकटों पर कारगर साबित होते हैं जहां पिच में उछाल होता है या फिर पिच में घास होती है लेकिन भारत में उछाल पिच से नहीं मिलती जिसकी वजह से वह भारत में कारगर साबित नहीं होते।
अगर मोहम्मद सिराज को भारत में होने वाले टेस्ट मैचों में अच्छा प्रदर्शन करना है तो उन्हें रिवर्स स्विंग की कला सीखनी पड़ेगी, क्योंकि बिना रिवर्स स्विंग की मदद से भारत में विकेट मिलना बहुत मुश्किल होता है। नई गेंद से सिर्फ पहले 10 से 15 ओवर में मदद मिलती है, उसके बाद अगर तेज गेंदबाज को सफल होना है तो उन्हें रिवर्स स्विंग की कला आनी ही चाहिए। उन्होंने फिलहाल कुल मिलाकर 29 टेस्ट मैच खेले हैं जिसमें उनकी औसत और स्ट्राइक रेट भारत के मुकाबले विदेशी जमीन पर ज्यादा अच्छी है। एक वजह और यह भी है कि उनका एक्शन फ्रंट ऑन है जिसकी वजह से उन्हें रिवर्स स्विंग प्राप्त करने में दिक्कत होती है। इसी कारण वह भारत में इतने सफल नहीं हो पाते जो हमने भारत और बांग्लादेश सीरीज में भी देखा।