अब लगभग यह तय हो गया है कि भारत और न्यूजीलैंड 15 नवंबर को मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में पहले सेमीफाइनल में भिड़ने वाले है। शनिवार को इंग्लैंड और पाकिस्तान के मैच के बाद सेमीफाइनल की तस्वीर बिल्कुल साफ हो जाएगी। आईसीसी टूर्नामेंट में सामने न्यूजीलैंड हो तो भारतीय फैंस की घबराहट और बढ़ जाती है। 2019 वर्ल्ड कप फाइनल में हार, वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप 2021 के फाइनल में हार इसकी बड़ी वजह हैं।
इस बार भारतीय फैंस को घबराने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि 2019 की कहानी बिल्कुल अलग थी। आपको सबसे बड़ा फर्क बताते हैं जो 2019 और 2023 में हैं। सबसे बड़ा फर्क मेजबान देश का है। 2019 में वर्ल्ड कप का वह मैच मैनचेस्टर में खेला गया था। 2023 में भारतीय टीम वानखेड़े स्टेडियम में सेमीफाइनल खेलेगी। पिच और मौसम का बहुत बड़ा फर्क पूरी तरह भारत के पक्ष में है। वानखेड़े स्टेडियम में फैंस का सपोर्ट पूरी तरह भारत के पक्ष में रहेगा। 2011 में भारतीय टीम ने इसी वानखेड़े स्टेडियम में श्रीलंका को हराकर वर्ल्ड कप जीता था। वानखेड़े स्टेडियम की पिच से भारतीय टीम बहुत अच्छी तरह वाकिफ है अब 12 साल बाद उसी वानखेड़े में भारत के पास खिताब की तरफ एक मजबूत कदम बढ़ाने का मौका है। एक बहुत बड़ा फर्क कप्तानी का भी है भारतीय टीम की कमान पिछले वर्ल्ड कप में विराट कोहली के पास थी। अब ये जिम्मेदारी रोहित शर्मा संभाल रहे हैं। 2019 में सेमीफाइनल में हार में किस्मत ने भी भारत का साथ नहीं दिया था।
खराब खेल के साथ-साथ खराब किस्मत भी 2019 में भारतीय टीम के बाहर होने की वजह बनी थी। भारतीय टीम के गेंदबाजों ने तो सेमीफाइनल में भी शानदार प्रदर्शन किया था। उन्होंने न्यूजीलैंड को 8 विकेट पर 239 रन के स्कोर पर रोक दिया था लेकिन बारिश ने तेजी से हालात बदले मैच रोकना पड़ा रिसर्व डे पर मैच फिर शुरू हुआ। बारिश की वजह से पिच के बदले हालात को टीम इंडिया का टॉप ऑर्डर नहीं समझ पाया। मामूली सा 240 का लक्ष्य अचानक बड़ा लक्ष्य लगने लगा। लेकिन इस बार ऐसी किसी भी आशंका से इंकार किया जा सकता है।
इस वर्ल्ड कप में टीम इंडिया की कहानी अलग है। अब तक खेले गए 8 मैच में वो अजेय रही है। प्वॉइंट्स टेबल में वो पहले नंबर पर है। सेमीफाइनल में जगह बनाने वाली वह पहली टीम है। न्यूजीलैंड की इसी टीम को वो लीग मैच में हरा चुकी है। बड़ी बात ये है कि न्यूजीलैंड के खिलाफ भारत का लीग मैच धर्मशाला में था। मौसम और पिच के लिहाज से धर्मशाला ऐसा मैदान था जहां न्यूजीलैंड का पलड़ा भारी माना जा रहा था लेकिन भारतीय टीम ने 4 विकेट से उस मैच में विजयी रही थी।