मनोज जोशी
भारत और पाकिस्तान में वर्ल्ड कप के मैचों को लेकर गतिरोध अभी बना हुआ है। पाकिस्तान इस साल भारत में अक्टूबर में होने वाले वर्ल्ड कप में अपनी पसंद के आयोजन स्थलों पर खेलना चाहता है। मगर बीसीसीआई को उसकी यह शर्त मंजूर नहीं है। स्थिति की नजाकत को देखते हुए आईसीसी ने दोनों पक्षों के बीच ग़लतफहमियों को दूर करने की ओर कदम उठाया है।
आईसीसी ने कहा है कि पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने उनसे कोलकाता अथवा चेन्नै में खेलने को लेकर कोई आग्रह नहीं किया है। वहीं आईसीसी के जनरल मैनेजर वसीम खान ने पिछले दिनों पाकिस्तान टीम के मैच बांग्लादेश में आयोजित करने का सुझाव दिया था लेकिन पीसीबी के अध्यक्ष नजम सेठी ने ऐसी किसी भी सम्भावना से इंकार किया है। सूत्रों के अनुसार पाकिस्तान वर्ल्ड कप के मैच दिल्ली में खेलने को तैयार है क्योंकि राजधानी होने की वजह से यहां उसे बेहतर सुरक्षा मिलेगी, ऐसा वहां के अधिकारियों का सोचना है। साथ ही वह चेन्नै और कोलकाता को भी सुरक्षित वैन्यू मानता है। आपको याद होगा कि 2016 के टी 20 वर्ल्ड कप मे पाकिस्तान की टीम कोलकाता के ईडन गार्डन में टीम इंडिया से खेली थी। यह भारत में उसका आखिरी मुक़ाबला था।
इसी तरह पाकिस्तान ने 2011 के वर्ल्ड कप का सेमीफाइनल भारत से मोहाली में खेला था जहां उसके दर्शकों को वहां पहुंचने में ज़्यादा परेशानी नहीं होगी लेकिन यह वैन्यू इस बार वर्ल्ड कप के आयोजन स्थलों में शामिल नहीं है। वैसे अहमदाबाद का नरेंद्र मोदी स्टेडियम आईसीसी के लिए अच्छा खास लाभ कमाने वाला वैन्यू है क्योंकि इसकी दर्शक क्षमता एक लाख 32 हज़ार है जो दुनिया का सबसे बड़ा क्रिकेट स्टेडियम है।
पाकिस्तान के साथ दूसरी परेशानी यह है कि वह अपने सभी मैच भारत में एक ही वैन्यू पर खेलना चाहता है। भारत में इस आयोजन के लिए अहमदाबाद, लखनऊ, मुम्बई,चेन्नै, कोलकाता, राजकोट, बैंगलुरू, दिल्ली, इंदौर, मोहाली, गुवाहाटी, धर्मशाला और हैदराबाद के रूप में 12 वैन्यू तय कर चुका है जहां 46 दिनों में कुल 48 मुक़ाबले खेले जाएंगे। यानी औसतर हर वैन्यू पर चार मैच। ऐसी स्थिति में पाकिस्तान के सभी मैच एक वैन्यू पर कराना बीसीसीआई के लिए मुश्किल है लेकिन यहां सुरक्षा कारणों का हवाला दिया जा रहा है। बेशक आईसीसी हर मामले में बीसीसीआई के साथ है लेकिन भारत-पाक मैच को लेकर उसका रुख पॉज़ीटिव रहता है और उसकी कोशिश किसी भी तरह के गतिरोध को दूर करने की होती है।
इसमें कोई दो राय नहीं कि आईसीसी वर्ल्ड कप के कार्यक्रम को मेजबान देश के बोर्ड से बात करके ही तय करेगी लेकिन इसके लिए भारत सरकार की भी भूमिका महत्वपूर्ण होगी, तभी इस बारे में अंतिम फैसला किया जा सकेगा।